गुल खिलते हैं गुलशन में..
सूरज की चमक से प्रकाश होता है
अपनापन रहे जिस रिश्ते में..
वो रिश्ता बहुत ही खास होता है
Gul Khilte Hain Gulshan Mei..
Sooraj Ki Chamak Se Prakaash Hota Hai
Apnapan Rahe Jis Rishte Mei..
Wo Rishta Bahut Hi Khaas Hota Hai
ज़िंदगी के सागर में अनेक रंग..
कभी जहाज़ तो कभी नाव होती
वही लिखता हूँ जो पसंद सभी की..
कभी धूप तो कभी छाँव होती